शक्ति पीठ Shakti Peeth पूरे भारतीय उपमहाद्वीप में 51 शक्ति पीठ को जाना जाता है ये शक्ति पीठ भारत , पाकिस्तान , बांग्लादेश और नेपाल तिब्बत, श्री लंका तक फैले है देवी के इन शक्ति पीठों के दर्शन का विशेष महत्व है नवरात्रि में शक्ति पीठों के दर्शन और पूजा का महत्व और बाद जाता है ऐसी मान्यता हैं कि देवी के इन पीठों के दर्शन से सभी का कल्याण होता सभी शक्ति पीठों का अपना अलग अलग महत्व है लोग मन वांछित मनोकामना की पूर्ति के लिए माता के विभिन्न रूपों या शक्ति पीठों की पूजा करते है लेकिन क्या आप जानते है ये शक्ति पीठ कहा कहा स्थित है तो आइए और इनके दर्शन से क्या लाभ होता है आइए जानते है मेरे इस पोस्ट में शक्ति पीठों के बनने की पौराणिक कथा के बारे में और ये कहा कहा है शक्ति पीठों के बनने की पौराणिक कथा पौराणिक कथा के अनुसार भगवान शिव की पहली शादी दक्ष प्रजापति पुत्री देवी सती से हुआ था सती के पिता जी भगवान शंकर से बहुत जलते थे सती जी के पिता दक्ष प्रजापति ने कनखल जिसको वर्तमान में हरिद्वार के नाम से जाना जाता। वहां एक विशाल यज्ञ था...
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