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TATA STEEL: Tata steel share price टाटा स्टील कहा कि कंपनी है

TATA STEEL

ाटा ग्रुप का आज के समय में उद्योग जगत में एक अलग रुतबा और नाम है ऐसा ग्रुप की कंपनियों के लगातार आगे बड़ने की वजह से है टाटा ग्रुप अपने स्थापना साल 1868 से आज काफी आगे और मजबूत स्थिति में है । आज टाटा ग्रुप  विश्व में पांच महादीप में स्थित है ।इसकी आज करीब 95 कंपनिया पूरे विश्व में कार्यरत है उन्ही में से हम आज हम अपने इस पोस्ट में टाटा स्टील के बारे में बात करेंगे तो आइए जानते है टाटा स्टील के बारे में

 

टाटा स्टील   की स्थापना 1907 जमशेदपुर झारखंड  में जेआरडी टाटा द्वारा   की गयी थी  की गयी थी शुरू में इसका नाम टाटा आयरन ऐंड स्टील कंपनी लिमिटड  टिस्को था   पूरी  दुनिया की  5 सबसे बडी इस्पात निर्माता  कंपनी है जिसकी वार्षिक उत्पादन क्षमता  34 मिलियन टन प्रति वर्ष  च्चे इस्पात की 2021 तक है । की है । यह इस उत्पादन क्षमता के साथ शीर्ष वैश्विक स्टील कंपनियों में से एक है। यह फार्च्यून 500 कंपनियों में भी शुमार है जिसमें इसका स्थान 315 वां है। कम्पनी का  मुख्य कर्यालय मुंबई  (महाराष्ट्र ) में स्थित    यह टाटा  ग्रुप में  एक अलग स्थान रखती है    यह  नीजि क्षेत्र  की मुनाफा कमाने वाली दूसरी बडी कंपनी भी है जिसकी वार्षिक कारोबार  21.06 बिलियन अमेरिकी रुपये है जिसमें 31 मार्च, 2021 तक है ।

टाटा स्टील का मुख्य प्लांट जमशेदपुर, झारखंड में स्थित है हलाकि हाल वर्षों में कई अधिग्रहणो के बाद इसने बहुराष्ट्रीय कम्पनी का रूप हासिल कर लिया है जिसका काम विश्व के कई देशों में होता है। टाटा स्टील को साल 2000 में  दुनिया में सबसे कम लागत में इस्पात बनाने  का  खिताब भी मिला हुआ है। 2005 मे टाटा स्टील को  वर्ल्ड स्टील डायनेमिक्स द्वारा पूरी दुनिया में सर्वश्रेष्ट इस्पात बनाने का खिताब भी मिला था टाटा स्टील भारत, नीदरलैंड और UK में प्रमुख परिचालन वाले 26 देशों में व्यापार करती है और लगभग 80,500 लोगों को रोजगार देती है।टाटा स्टील  मुंबई स्टॉक एक्सचेंज के साथ साथ नेशनल स्टाक एक्सचेंज में भी सूचीबद्ध है टाटा स्टील में भारत का करीब 20% इस्पात तैयार होता है । आज टाटा स्टील उन कुछ स्टील कम्पनियों में से एक है जो पूरी तरह से एकीकृत हैं – उत्पादों के निर्माण और विपणन और उत्पादों के लिए कच्चे माल के खनन तक । 

टाटा स्टील को ग्रेट प्लेस टू वर्क संस्था द्वारा मैन्युफैक्चरिंग सेक्टर 2022 में सर्वश्रेष्ठ कार्य स्थल का खिताब मिला है । यह पांचवी बार है जब कंपनी को यह खिताब मिला है । यह कंपनी द्वारा कर्मचारियों के प्रति निष्ठा और उनके निरंतर देखभाल को दर्शाता है ।

टाटा स्टील के बारे में

टाटा स्टील  (टाटा आयरन एंड स्टील कंपनी) की स्थापना जमशेदजी नसरवानजी टाटा ने की थी और 26 अगस्त 1907 को सर दोराबजी टाटा द्वारा स्थापित किया गया था । टाटा स्टील ने 1911 में पिग आयरन का उत्पादन शुरू किया और 1912  टाटा समूह की एक शाखा के रूप में स्टील का उत्पादन कार्य  शुरू किया। टिस्को ने पहला स्टील पिंड 16 फरवरी 1912 को निर्मित किया गया था।1914-1918  में प्रथम विश्व युद्ध  के दौरान, कंपनी ने तेजी से प्रगति की।

टाटा आयरन एंड स्टील कंपनी ने 1920 में,  टिनप्लेट के निर्माण के लिए तत्कालीन बर्मा शेल के साथ एक संयुक्त उद्यम के रूप में द टिनप्लेट कंपनी ऑफ इंडिया लिमिटेड (टीसीआईएल) को भी शामिल किया । टीसीआईएल अब टाटा टिनप्लेट है और भारत में इसकी बाजार हिस्सेदारी 70 प्रतिशत है।

टाटा स्टील ने 2005 में  अपना नाम टिस्को ( टाटा आयरन ऐंड स्टील कंपनी लिमिटड ) से बदल कर टाटा स्टील कर लिया ।

राष्ट्रीयकरण के प्रयास 

टाटा आयरन एंड स्टील कंपनी  के दो बार राष्ट्रीय करण करने का भी प्रयास हुआ है एक बार 1971 में इंद्रा गांधी के शासन काल में दूसरी बार 1974 में जब जनता पार्टी की सकरार थी तब उद्योग मंत्री जॉर्ज फर्नांडिस ने प्रयास किया लेकिन मजदूर यूनियन के दबाव में ये नही हुआ । 

साल 1990 में कंपनी ने विस्तार करते हुए अपना कर्यालय न्यूयॉर्क अमेरिका  टाटा इंक के नाम से खोला   ।

टाटा स्टील द्वारा किया गया  अधिग्रहण 

नैटस्टील का अधिग्रहण

2004 में सिंगापुर स्थित नैटस्टील के कंपनी को $486.4 मिलियन नकद में अधिग्रहित करने को टाटा स्टील राजी हुआ । नैटस्टील ने 2003 में $1.4 बिलियन डॉलर के कारोबार और $47 मिलियन का बिना टैक्स दिए आय अर्जित किया था । नैटस्टील का संचालन नैटस्टील एशिया पीटीई लिमिटेड नामक एक पूर्ण स्वामित्व वाली सहायक कंपनी के द्वारा चलाए जाएंगे। नैट स्टील का अधिग्रहण फरवरी 2005 में पूरा हुआ। 2005 में नैटस्टील की उत्पादन छमता 2 मिलियन टन की प्रति वर्ष लगभग थी

मिलेनियम स्टील का अधिग्रहण

2005 में टाटा स्टील ने मिलेनियम स्टील थाईलैंड में 13 करोड़ डॉलर की लागत से अधिग्रहण किया। टाटा स्टील ने 40% हिस्सेदारी खरीदने के लिए सियाम सीमेंट को 73 मिलियन अमेरिकी डॉलर चुकाए । और 25% शेयरों के लिए 1.13 baht (थाई मुद्रा ) पर शेयर देने की पेशकश की। 31 मार्च 2013 तक टाटा स्टील की मिलेनियम स्टील में 68 % हिस्सेदारी हो गई थी । कंपनी का नाम अब टाटा स्टील थाईलैंड कर दिया गया है। जिसका मुख्यालय बैंकॉक थाईलैंड में है ।

कोरस का अधिग्रहण

2006 में टाटा स्टील ने कोरस का अधिग्रहण करने के लिए एंग्लो-डच कंपनी, कोरस को 455 पेंस प्रति शेयर की दर से 100% हिस्सेदारी खरीदने के लिए 8.1 बिलियन डॉलर के एक समझौते पर साइन किया 19 नवंबर 2006 को, ब्राजील की स्टील कंपनी कॉम्पैनहिया साइडरर्गिका नैशनल (सीएसएन) ने कोरस के लिए 475 पेंस प्रति शेयर की दर से एक काउंटर ऑफर शुरू किया, जिसका मूल्य 4.5 बिलियन पाउंड था। बाद में टाटा स्टील ने अपनी पेशकश को 500 पेंस प्रति शेयर तक बढ़ा दिया, जो कि 31 जनवरी 2007 को, टाटा स्टील ने 608 पेंस प्रति शेयर की दर $12 बिलियन डॉलर में कोरस का अधिग्रहण किया । ये उस समय का किसी भारतीय कंपनी द्वारा किया गया सबसे बड़ा अधिग्रहण है। इस अधिग्रहण ने टाटा स्टील को 56 वे स्थान से सीधे 5 वे स्थान पर पहुंचा दिया । जिसने टाटा स्टील को शीर्ष स्टील कंपनी में खड़ा किया ।

टायो रोल्स का पूर्ण नियंत्रण

2008 में टाटा स्टील ने अपने ही टाटा-योडोगावा लिमिटेड एक धातु निर्माण कंपनी जिसकी स्थापना 1968 में टाटा स्टील और जापान स्थित योडोगावा स्टील्स के बीच एक संयुक्त उद्यम के रूप में हुई थी। जिसका मुख्यालय जमशेदपुर , भारत में है कंपनी ने 2008 में एक् राइट्स इश्यू लाई जो इसके कुल मूल्य का 50 प्रतिशत से भी कम पर सस्क्राइब हुए जो की करीब 60 करोड़ रुपए कम मूल्य लगने के कारण प्रमोटर ने उनका अधिग्रहण कर लिया, परिणामस्वरूप टायो रोल्स टाटा स्टील की सहायक कंपनी बन गई। टाटा स्टील की टयो रोल्स 55.24% हिस्सेदारी है।

स्टील इंजीनियरिंग और विनॉस्टील में हिस्सेदारी

टाटा स्टील ने 2007 में अपनी पूर्ण स्वामित्व वाली सिंगापुर सहायक कंपनी, नैटस्टील एशिया पीटीई लिमिटेड के माध्यम से वियतनाम में स्थित दोनों रोलिंग मिल कंपनियों में स्टील इंजीनियरिंग पीटीई में 100 प्रतिशत और विनॉस्टील लिमिटेड में 70 प्रतिशत हिस्सेदारी नियंत्रण हिस्सेदारी 41 मिलियन डॉलर में हासिल की। ।

भूषण स्टील का अधिग्रहण 

भूषण स्टील पर जब आईबीसी के तहत 26 जुलाई 2017 को दिवाला कार्यवाही शुरू की गई थी । तब टाटा स्टील 2018 में सबसे अधिक बोली लगा कर के उभरा और बामनीपाल स्टील लिमिटेड के माध्यम से कंपनी का अधिग्रहण किया। कंपनी का नाम बदलकर टाटा स्टील बीएसएल कर दिया गया । बाद में 2021 में टाटा स्टील ने बामनीपाल स्टील लिमिटेड और टाटा स्टील बीएसएल को मिला दिया, जिससे बाद टाटा स्टील सहायक कंपनी बन गई ।

नीलांचल इस्पात का अधिग्रहण 

2022 में टाटा स्टील ने अपनी सहायक कंपनी TSLP टाटा स्टील लॉन्ग प्रोडक्ट के माध्यम से उड़ीसा स्थित NINL नीलांचल इस्पात निगम लिमिटेड का 12100 करोड़ रुपए में अधिग्रहण किया ।

 संयुक्त उपक्रम

2006 में टाटा ब्लूस्कोप स्टील लिमिटेड को टाटा स्टील और ब्लू स्कोप स्टील लिमिटेड ने मिलकर पूर्व पूर्व-इंजीनियर स्टील उत्पादों के निर्माण के लिए बनया गया था ।

2014 में निप्पॉन स्टील के साथ टाटा स्टील ने जमशेदपुर कंटीन्यूअस एनीलिंग एंड प्रोसेसिंग कंपनी प्राइवेट लिमिटेड (JCAPCPL) को लॉन्च किया, जो दोनो कंपनियों एक संयुक्त उद्यम है, जो ऑटोमोटिव उद्योग के लिए निरंतर एनील्ड उत्पादों का उत्पादन करता है। इसे 2,750 करोड़ के निवेश के साथ स्थापित किया गया था और संयंत्र की क्षमता 600,000 टन थी ।

टाटा स्टील और खेलकूद 

टाटा स्टील खेल को बड़ने में सदा आगे रहा है और देशमें खेलों के विकास में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है। टाटा स्टील टाटा फुटबॉल अकादमी, टीएसएएफ क्लाइंबिंग अकादमी, टाटा तीरंदाजी अकादमी, नौसेना टाटा हॉकी अकादमी - जमशेदपुर और ओडिशा नौसेना टाटा हॉकी उच्च प्रदर्शन केंद्र की स्थापना की हैं।     

टाटा स्टील की उपस्थिति 

आज टाटा स्टील का भारत के अलावा मलेशिया, वियतनाम, थाईलैंड, यूएई, आइवरी कोस्ट, मोजाम्बिक, दक्षिण अफ्रीका, ऑस्ट्रेलिया, यूनाइटेड किंगडम, नीदरलैंड, फ्रांस और कनाडा सहित 26 देशों में विनिर्माण कार्यों के साथ लगभग 50 देशों में इसकी उपस्थिति और व्यापार होता है ।

टाटा स्टील का कार्य क्षेत्र

इंजीनियरिंग , ऑटोमोटिव, एयरोस्पेस ,निर्माण, उपभोक्ता सामान, , पैकेजिंग, लिफ्टिंग और उत्खनन, ऊर्जा और बिजली, जहाज निर्माण, रेल और रक्षा और सुरक्षा क्षेत्रों में काम करती हैं । 


कुछ महत्वपूर्ण प्रश्न और उनके उत्तर 


Q1- टाटा स्टील की स्थापना कब हुई ?

Ans- टाटा स्टील   की स्थापना 1907 जमशेदपुर झारखंड में हुई थी ।

Q2-  टाटा ने कोरस का अधिग्रहण कब किया था ?

Ans- 2006 में टाटा स्टील ने कोरस का अधिग्रहण 12 बिलियन डॉलर में किया था। 

Q3- टाटा स्टील का मालिक कौन है ?

Ans- टाटा स्टील का मालिक टाटा ग्रुप है यह टाटा ग्रुप का होल्डिंग कंपनी है ।

Q4- टाटा स्टील कहा की कंपनी है ?

Ans- टाटा स्टील भारत देश की कंपनी है ।

Q5- टाटा स्टील का शेयर प्राइज अभी कितना है ?

Ans- टाटा स्टील का शेयर  अभी 100 रूपये के आस पास ट्रेड कर रहा है ।

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